गाजा पट्टी में इजरायल और हमास के बीच जारी संघर्ष के बीच हालात बदतर होते जा रहे हैं। हमास ने गुरुवार को अरब और मुस्लिम देशों से इजरायल के हमलों को रोकने की अपील की है। गुट ने इजरायली हमलों को ‘नरसंहार’ करार देते हुए इसे रोकने के लिए मुस्लिम देशों की ‘नैतिक और राजनीतिक’ जिम्मेदारी बताई। मंगलवार सुबह से इजरायल ने अपने सैन्य अभियान को फिर से तेज कर दिया है, जिससे गाजा में 19 जनवरी को लागू हुआ युद्धविराम समाप्त हो गया।
रातभर के हमलों में 91 लोगों की मौत
हमास संचालित गाजा के स्वास्थ्य मंत्रालय ने जानकारी दी कि बुधवार और गुरुवार की रात इजरायल के हवाई हमलों में 91 लोग मारे गए। मरने वालों में एक नवजात शिशु भी शामिल है। इजरायल के हमले में हमास के कई वरिष्ठ नेता भी मारे गए, जिनमें गाजा की सरकार के प्रमुख और सुरक्षा सेवाओं के प्रमुख शामिल हैं। इसके जवाब में हमास ने गुरुवार को इजरायल के प्रमुख शहर तेल अवीव पर रॉकेट हमले की जिम्मेदारी ली।
तीन दिनों में 500 से अधिक की मौत
गुरुवार को इजरायली सेना ने बताया कि उसने गाजा के दक्षिणी हिस्से, खासतौर पर राफा क्षेत्र में जमीनी अभियान फिर से शुरू कर दिया है। इसके साथ ही नेत्जारिम कॉरिडोर पर इजरायली टैंक तैनात कर दिए गए हैं। हमास के स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक, इजरायली हमलों में बीते तीन दिनों में अब तक 504 लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें 200 किशोर और बच्चे भी शामिल हैं। यह संख्या इजरायल द्वारा हमास के खिलाफ युद्ध शुरू होने के बाद सबसे ज्यादा है।
हमास की अपील: अरब और मुस्लिम देश करें हस्तक्षेप
हमास ने अपने बयान में कहा, “यह नरसंहार सीधे तौर पर अरब लीग और इस्लामिक सहयोग संगठन (OIC) पर नैतिक और राजनीतिक जिम्मेदारी डालता है कि वे दुनिया के सामने हो रहे इस नरसंहार को समाप्त करने के लिए कदम उठाएं।” हमास ने आगे कहा, “हम अरब और इस्लामिक देशों से अपील करते हैं कि वे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद सहित अन्य अंतरराष्ट्रीय मंचों पर तत्काल कार्रवाई करें और इजरायली आक्रामकता को रोकने के लिए ठोस कदम उठाएं।”
गाजा में जारी इस हिंसा ने न केवल मध्य पूर्व बल्कि पूरी दुनिया में चिंता बढ़ा दी है। अब देखना यह होगा कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय इस संकट को हल करने के लिए क्या कदम उठाता है।